लालसा
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जनि छै तनि रै जांदि त क्या ह्वै जांदु,
द्वी घडि़ मैमु ऐ जांदि त क्या ह्वे जांदु।
पर तु त खयेली तौंकी शिकासर्यूं ना,
खुद मेरी बिसरै जांदि त क्या ह्वै जांदू।
तिन त लव यू बोलिक फर्ज निभै द्ये,
गालुंद झुंट्ये जांदि त क्या ह्वै जांदु।
प्यार क्वी ज्यू बुथ्याणा कु खेल नी,
यु तू बि चितै जांदि त क्या ह्वै जांदू।
तु तनै खत्येणी रै, मि इनै खत्येणू छौं,
माला़ सि गंठ्ये जादि त क्या ह्वै जांदू।
दिनेश कुकरेती
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